यह अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण हैं की संपन्न और समृध्द भाषाओँ का देश होने के बाद भी हमारे देश में अंग्रेजी का न केवल चलन-वलन हैं, अपितु अंग्रेजी यह संभ्रांत लोगोंकी भाषा मानी जाती हैं. यदि आप अंग्रेजी में बात करते हैं, तो ही आप बुध्दिजीवी, विद्वान, आधुनिक, कलाप्रेमी इत्यादि हैं, ऐसा माना जाता हैं.